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सावधान! होली पर आपको अपनी चपेट में लेने की फिराक में है कोरोना वायरस

महोबा:अबीर,गुलाल की इंद्रधनुषी छटा बिखेरने वाले होली के पर्व की मस्ती को लोक साहित्य के माधुर्य से दोगुना कर देने वाली बुंदेलखंड की फाग में भी कोरोना वायरस का रंग दिखाई दे रहा है। देश दुनिया में कोरोना की दहशत के बीच बुंदेलखंड के फगुआरे लोक गीतों के जरिये आम जनमानस को वायरस के प्रति सचेत करते हुए बचाव के उपायों को अमल में लाने की नसीहत दे रहे है। होली के अवसर पर समूचा ङ्क्षवध्य अंचल लोक साहित्य के फाग गीतों से सराबोर रहता है।

नगडिय़ा की टंकार ओर ढोलक की थाप में लोक गायक जब चोकडिय़ा फाग की तान छेड़ते है तो वातावरण अनूठी मादकता से भर जाता है। रसिक वर्ग को इसमें अपार आनंद की अनुभूति होती है। फाग की महफिल जब जमती है तो इसके शौकीन अपने सारे कामकाज छोड़ कर न सिर्फ शिरकत करते है बल्कि होड़ लगाकर गायन में हिस्सा भी लेते है। बुंदेलखंड में फाग गीतों के रचनाकारों की हालांकि बहुत लंबी फेहरिस्त है लेकिन लोक कवि ईसुरी खेत सिंह ख्याली राम आदि कवियों द्वारा रचित फागें फाग गायन में सर्वाधिक प्रचलित है।

फाल्गुन माह के शुरू होते ही सुनाई देने लगती है। यहां फाग गायन पहले गांव की चौपालों तक केंद्रित रहता है लेकिन होली के नजदीक आते आते फाग की मस्ती परवान चढ़ती हुई एक एक घर को अपने आगोश में ले लेती है। फगुआरे पूरे गांव में घूम घूम कर फाग गायन करते है और लोगो मे खुशियों के रंग लुटाते है। फाग गीत वैसे तो श्रृंगार रस प्रधान होते है मगर इनके माध्यम से विभिन्न सामाजिक बुराइयों को सामने लाकर लोगो को उनसे दूर करने का महत्वपूर्ण कार्य भी फगुआरो द्वारा किया जाता है।

बुंदेले फगुआरो द्वारा विश्व पटल पर इन दिनों छाए कोरोना वायरस के $खौ$फ को फाग गीतों में समाहित कर लोगो को इसके प्रति जागरूक करना इसी क्रम की एक कड़ी है। फाग गायक मांगी लाल ने बताया कि परंपरागत गीतों के अलावा आशु कवियों व गायकों द्वारा पूर्व से फाग को समसामयिक मुद्दों पर आनन फानन में तैयार करके गाया जाता रहा है। यही कारण है कि फगुआरो ने अबकी देश दुनिया मे चर्चा का विषय बने कोरोना वायरस को फाग गीतों का प्रमुख महत्वपूर्ण विषय बनाया है।

फगुआरे गांव में घर घर दस्तक देकर लोगो को इस लाइलाज बीमारी के प्रति जागरूक कर रहे है तथा सभी को इसके बचाव के उपायों पर अमल करने की नसीहत दे रहे है। फाग गायकों ने इ•ाके अलावा भारत सरकार के स्वच्छ भारत मिशन को भी अपने गीतों में प्रमुखता से स्थान दिया है। इन गीतों में अपने आसपास के माहौल को साफ सुथरा रखनेए खुले में शौच न जाने आदि मुद्दों को लिया गया है।

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