डॉ दिलीप अग्निहोत्री
जन उत्साह से राष्ट्रीय महत्व के इवेंट्स भी पर्व के रूप में बदल जाते है। लखनऊ के डिफेंस एक्सपो से यह तथ्य प्रमाणित हुआ।
मुख्य आयोजन स्थल वृंदावन योजना में एक्सपो के आखरी दो दिन आमजन के लिए थे। प्रवेश निशुल्क था। इसके अलावा गोमती रिवर फ्रंट स्थल पर प्रतिदिन निःशुल्क प्रवेश की व्यवस्था की गई थी। यहां तो पूरे समारोह के दौरान ही उत्सव जैसा माहौल बना रहा।
वृंदावन योजना में आठ व नौ फरवरी के दिन देखने लायक था। इससे भारतीय जनमानस का देश की रक्षा के प्रति लगाव भी उजागर हुआ। यहाँ पहुंचे सभी लोगों में देशभक्ति का जज्बा था। सैनिकों के प्रति सम्मान का भाव था। डिफेंस एक्सपो पांच फरवरी को प्रारंभ हुआ था। मुख्य समारोह स्थल में प्रारंभिक तीन दिन मूलतः विशेषज्ञ वार्ता,विचार विमर्श, सेमिनार समझौते आदि के लिए थे। रक्षा उत्पादों की प्रदर्शनी के अनेक पवेलियन सजे हुए थे। इन सभी लक्ष्यों को सफलता पूर्वक हासिल किया गया।
रक्षा क्षेत्र के विशेषज्ञ अधिकारी,जवान आदि के लिए इन हथियारों को देखना सामान्य बात है। लेकिन अन्य नागरिकों में इनको लेकर पर्याप्त जिज्ञाषा रहती है। सरकार ने इस बात का ध्यान रखा। इसलिये आमजन के लिए प्रदर्शनी खोली गई। गोमती रिवर फ्रंट के अलावा वृंदावन योजना स्थल पर लोगों ने रक्षा सेनाओं के शौर्य की गाथा प्रत्यक्ष अनुभव किया।
विभिन्न स्थानों पर प्रदर्शित किए गए टैंक
लड़ाकू विमानों का प्रदर्शन मन मोहने वाला था। सरकार ने डिफेंस एक्सपो स्थल पहुंचने के लिए मुफ्त बस सेवा की सुविधा उपलब्ध कराई थी। कई किलोमीटर तक जाम की भी स्थिति थी। लेकिन लोगों के उत्साह में कोई कमी नहीं थी। यह अनेक बिंदुओं अब तक का सबसे बड़ा डिफेंस एक्सपो था। अब आमजन की भागीदरी की दृष्टि से भी इसे अब तक का सबसे बड़ा डिफेंस एक्सपो कहा जा सकता है।
यह एक्सपो प्रदर्शनी लगाने वालों की संख्या, आयोजन क्षेत्र, राजस्व प्राप्ति की दृष्टि से सबसे बड़ी रक्षा प्रदर्शनी थी। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने इसमें जनभागीदारी सुनिश्चित करके इसका दायरा बढा दिया।