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“लिवर सिरोसिस में टीबी होने की संभावना बहुत अधिक”

उदर एवं आंत्र रोग विशेषज्ञ की दो दिवसीय संगोष्ठी

डॉ शांति चौधरी

प्रयागराज।

उदर एवं आंत्र रोग विशेषज्ञ की द्विदिवसीय संगोष्ठी के दूसरे दिन डॉ एस के सरीन ने कहा कि हमारे देश से वायरल उन्मूलन के लिए राष्ट्रीय कार्यक्रम आयोजित किए जा रहे हैं, उसके अंतर्गत हेपेटाइटिस परीक्षण की सुविधा सब जगह प्रदान की जा रही है ।

डॉ राखी मईवाल ने कहा कि लगातार लिवर एंजाइम्स बढे होने पर कुछ मामलों में लिवर बायोप्सी निदान के लिए जरूरी होती है। डॉ एस पी मिश्रा ने दीर्घकालीन लिवर डिजीज एवं टीवी के प्रबंधन के विषय में व्याख्यान देते हुए कहा कि लिवर सिरोसिस के मामले में टीबी होने की संभावना बहुत अधिक होती है। लिवर सिरोसिस के मामले में टीबी का निदान एवं उपचार बहुत जटिल हो जाता है ।

डॉ शालीमार ने कहा कि फैटी लिवर के मामले में वजन कम करने से बहुत लाभ होता है। फैटी लिवर से बचाव के लिए हफ्ते में 5 दिन 45 मिनट का व्यायाम करने की सलाह दी और कहा कि योगासन सबसे सरल और सबसे अधिक प्रभावी होता है। योगासन अपनाए। खानपान में बदलाव करना चाहिए लेकिन 90 फ़ीसदी मरीज ऐसा नहीं करते।

डॉ पी कर ने गर्भावस्था के दौरान यकृत ( लिवर) की चर्चा करते हुए कहा कि गर्भावस्था के दौरान हेपटाइटिस होना गंभीर माना जाता है। इसलिए पीलिया होने पर उसकी समुचित जांच व प्रबंधन बहुत आवश्यक है। डॉ वीके दीक्षित ने यकृत एवं पीलिया से संबंधित परेशानियों के प्रबंधन की जानकारी दी। डॉ विक्रम भाटिया, डॉ राकेश कालपाला एवं डॉ मोहन रामचंदानी ने एंडोस्कोप की नवीनतम तकनीकों की जानकारी देते हुए कहा कि अब एंडोस्कोप के द्वारा मोटापे का प्रबंधन भी सफल हो रहा है।
मेडिसिन विभाग के पीजी छात्रों के लिए क्विज़ कार्यक्रम आयोजित किया गया जिसमें प्रथम विजेता बीएचयू टीम को दस हज़ार,द्वितीय जीएसवीएम कानपुर को साढ़ेसात हज़ार और एमएलएन मेडिकल कॉलेज की टीम को तृतीय पुरस्कार पाँच हज़ार रुपये नकद दिए गए। संयोजन अध्यक्ष डॉ मनीषा द्विवेदी एवं डॉ एस पी मिश्र ने धन्यवाद ज्ञापित किया।

उदर यकृत एवं आंत्र रोग विभाग एमएलएन मेडिकल कॉलेज के डॉ निखिल गुप्ता, डॉ कुलदीप सिंह अवंदर राहुल पुरी ने आयोजन में विशेष सहयोग दिया।डॉ पूनम गुप्ता, डॉ अजीत चौरसिया, डॉ जी एस सिन्हा, डॉ शान्ति चौधरी, डॉ एस के शुक्ला, डॉ पी कर, डॉ वी के दीक्षित, डॉ विक्रांत खन्ना, डॉ कपिल शर्मा, डॉ रोहित गुप्ता, डॉ कमल सिंह उपस्थित रहे।

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