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सुनंदा केस में शशि थरूर पर चले हत्या का मुकदमा

दिल्ली पुलिस ने अदालत में कहा: पुष्कर अपने वैवाहिक जीवन में “व्यथित” थी और “विश्वासघात” महसूस कर रही थी। पुष्कर अपने पति के साथ तनावपूर्ण संबंधों के कारण मानसिक पीड़ा का शिकार थी। पति के साथ उसकी हाथापाई हुई थी और मौत से कुछ दिन पहले उसके शरीर पर चोट के निशान लगे थे। अभियोजक ने थरूर पर अपनी पत्नी को प्रताड़ित करने का आरोप लगाया, जिसने उसे आत्महत्या करने के लिए उसे विवश किया।

विधि विशेषज्ञ एवं वरिष्ठ पत्रकार जेपी सिंह की कलम से

सुनन्दा पुष्कर की दिल्ली के एक पॉश होटल में हुई संदिग्ध मौत में पोलिनिअम जहर से मौत होने का मामला सामने आया था लेकिन आणविक संयंत्रों से बाई प्रोडक्ट के रूप में निकलने वाले इस दुर्लभ ज़हर कड़ियाँ दिल्ली पुलिस नहीं जोड़ पायी तो उसने सुनंदा के पति के खिलाफ आत्महत्या के लिए उकसाने की चार्जशीट दाखिल कर दी और अब पुलिस की दलील है कि आत्महत्या के लिए उकसाने का मुकदमा कांग्रेस सांसद शशि थरूर के खिलाफ मुकदमा चलाया जाना चाहिए।

दिल्ली पुलिस ने शनिवार को दिल्ली की राउज़ एवेन्यू कोर्ट में कहा कि 2014 में पत्नी सुनंदा पुष्कर की मौत के मामले में आत्महत्या के लिए उकसाने या “वैकल्पिक” तौर पर हत्या के आरोप में कांग्रेस सांसद शशि थरूर के खिलाफ मुकदमा चलाया जाना चाहिए। जांच एजेंसी ने विशेष न्यायाधीश अजय कुमार कुहार से कहा, ” कृपया आईपीसी की धारा 498-ए (पति या उसके रिश्तेदार की क्रूरता से पीड़ित महिला), 306 (आत्महत्या के लिए उकसाना ) या वैकल्पिक तौर पर 302 (हत्या) का मामला अभियुक्त (थरूर) के खिलाफ दर्ज करें।वरिष्ठ सरकारी वकील अतुल श्रीवास्तव ने मामले में आरोप तय करने पर बहस के दौरान ये दलीलें दीं।

पूर्व केंद्रीय मंत्री, जो इस मामले में जमानत पर हैं, को दिल्ली पुलिस ने भारतीय दंड संहिता की धारा 498-ए और 306 के तहत आरोपित किया है । दंपत्ति के घरेलू नौकर के एक बयान को पढ़ते हुए, जो इस मामले में गवाहों में से एक है, अभियोजक ने कहा कि दंपत्ति की ‘केटी’ नाम की एक लड़की और कुछ ब्लैकबेरी संदेशों पर लड़ाई हुई थी। मौत से पहले, पुष्कर आईपीएल मुद्दे पर एक संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करना चाहती थी और उनहोंने कहा था कि “मैं उसे (थरूर) नहीं छोड़ूंगी।” गवाह ने पुलिस को बताया था कि निधन से एक साल पहले भी, दोनों बहुत लड़ाई करते थे।

अभियोजक ने अदालत को बताया कि पुष्कर अपने वैवाहिक जीवन में “व्यथित” थी और “विश्वासघात” महसूस कर रही थी। पुष्कर अपने पति के साथ तनावपूर्ण संबंधों के कारण मानसिक पीड़ा का शिकार थी। एजेंसी ने कहा कि पति के साथ उसकी हाथापाई हुई थी और मौत से कुछ दिन पहले उसके शरीर पर चोट के निशान लगे थे। अभियोजक ने थरूर पर अपनी पत्नी को प्रताड़ित करने का आरोप लगाया, जिसने उसे आत्महत्या करने के लिए उसे विवश किया।

अभियोजक ने अदालत को बताया कि पोस्टमार्टम रिपोर्ट के अनुसार, पुष्कर की मौत का कारण जहर था और उसके शरीर के विभिन्न हिस्सों पर 15 चोटों के निशान पाए गए, जिनमें हाथ, पैर भी शामिल थे। थरूर के पाकिस्तानी पत्रकार मेहर तरार के साथ संबंध भी पुष्कर की मानसिक पीड़ा में शामिल हैं। अभियोजक ने अदालत को पुष्कर की दोस्त और पत्रकार नलिनी सिंह के बयान के बारे में भी अवगत कराया, जो चार्जशीट का हिस्सा है।नलिनी सिंह का कहना है कि दोनों के बीच संबंध तनावपूर्ण और खराब थे। पुष्कर ने उन्हें(नलिनी सिंह) बताया था कि उसने थरूर को आईपीएल के मामले में बहुत मदद की। उसे मेहर तरार और थरूर के बीच कुछ संदेश मिले। उसने अपने घर जाने से इनकार कर दिया और इसके बजाय लीला होटल चली गईं।नलिनी ने अपने बयान में कहा है कि दंपत्ति के बीच संबंध बहुत खराब थे।

थरूर की ओर से पेश वरिष्ठ वकील विकास पाहवा ने कहा कि अभियोजन पक्ष द्वारा दी गई दलीलें चार्जशीटके विपरीत हैं और उसके द्वारा लगाए गए आरोप “बेतुके और पूर्वाग्रहपूर्ण” हैं। अब मामले को अगली सुनवाई के लिए 17 अक्टूबर को सूचीबद्ध किया गया है। दरअसल आगे की कार्यवाही के लिए मामला पहले सेशन कोर्ट में भेजा गया था। चार्जशीट में सूचीबद्ध अपराध के लिए अधिकतम सजा 10 साल की कैद है जबकि 302 (हत्या) के लिए अधिकतम सजा मृत्युदंड है जबकि न्यूनतम आजीवन कारावास है।

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